द्रमुक (DMK) ने मंगलवार को तमिलनाडु सरकार (AIADMK) पर लोकसभा में हमला करते हुए उसे सबसे भ्रष्ट और भाजपा का गुलाम बताया। राष्ट्रपति के अभिभाषण के मोशन ऑफ थैंक्स पर एक बहस के दौरान बोलते हए डीएमके के दयानिधि मारन ने भाजपा से कहा कि वह आत्मनिरीक्षण करे कि आखिर तमिलनाडु के लोगों ने हाल के लोकसभा चुनावों के दौरान पार्टी को क्यों नकार दिया। हालांकि उन्होंने यह भी कहा कि भगवा पार्टी की ताकत विपक्ष की कमजोरी में है।
सदन में अन्नाद्रमुक का केवल एक ही सदस्य है। अन्नाद्रमुक की इस तीखी निंदा से भाजपा सदस्यों के विरोध प्रदर्शनों को हवा मिली है। भाजपा ने नियमों का हवाला देते हुए दावा किया कि मारन राज्य सरकार के खिलाफ 'अपमानजनक' शब्दों का इस्तेमाल नहीं कर सकते या राष्ट्रपति के अभिभाषण
पर इस तरह का मुद्दा नहीं उठा सकते। जब मारन ने यह कहते हुए पलटवार किया कि दासों की देखभाल करना गुरु का कर्तव्य है तो AIADMK के साथ भाजपा के गठबंधन के संसदीय मामलों के राज्य मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने उनकी टिप्पणी पर आपत्ति जताई।
द्रमुक सदस्य ने भाजपा पर सीबीआई और ईडी, और चुनाव आयोग जैसी जांच एजेंसियों के दुरुपयोग का आरोप भी लगाया। राज्य में गंभीर जल संकट के बारे में बताते हुए, विशेष रूप से राजधानी चेन्नई के बारे में उन्होंने कहा कि राज्य सरकार निश्चिंत है और संकट का समाधान करने के लिए कुछ नहीं कर रही है। राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद ने अपने संबोधन में भ्रष्टाचार के खिलाफ बात की, मारन ने तमिलनाडु सरकार पर आरोप लगाते हुए सबसे भ्रष्ट सरकार बताया है।
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