विश्व हिंदू परिषद ने केंद्र सरकार से जल्द यूनिफॉर्म सिविल कोड लागू करने की मांग की है. विश्व हिंदू परिषद के कार्यकारी अध्यक्ष आलोक कुमार ने समाचार एजेंसी एएनआई से कहा कि "देश में हिंदुओं की जनसंख्या दर कम हो रही है और मुसलमानों की जनसंख्या दर तेजी से बढ़ रही है." उन्होंने कहा कि अगर जनसंख्या का वर्तमान संतुलन बिगड़ता है तो देश में अनेक संकट पैदा होंगे.
विश्व हिंदू परिषद के कार्यकारी अध्यक्ष ने आगे कहा कि सरकार को जनसंख्या नीति और यूनिफॉर्म सिविल कोड जल्द लाना चाहिए. उन्होंने कहा, "देश में सभी लोगों को परिवार नियोजन का पालन करना चाहिए... मुसलमानों में बहुत से लोग हैं जो मुस्लिमों को अधिक से अधिक बच्चे पैदा करने के लिए प्रोत्साहित करते हैं. वो इसे धार्मिक कर्तव्य बताते हैं." आलोक कुमार ने आगे कहा कि ये धारणाएं बदलनी चाहिए और सभी को देश हित में काम करना चाहिए.
'यह हमारा संवैधानिक उद्देश्य है'
इससे पहले, रविवार (19 फरवरी) को केरल के राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान ने यूनिफॉर्म सिविल कोड को लागू करने के संबंध में
मीडिया से बात की थी. उन्होंने कहा, हमें यूसीसी (UCC) के बारे में लोगों की गलत धारणाओं को दूर करने और इसे लागू करने का प्रयास करना चाहिए, क्योंकि यह हमारा संवैधानिक उद्देश्य है. उन्होंने कहा, "अगर लोगों को इसके बारे में गलत धारणाएं हैं, तो इसे विवाद का विषय बनाने के बजाय इसे स्पष्ट किया जाना चाहिए."
क्या है यूनिफॉर्म सिविल कोड?
यूनिफॉर्म सिविल कोड का मतलब है विवाह, तलाक, बच्चा गोद लेना और संपत्ति के बंटवारे जैसे विषयों में सभी नागरिकों के लिए एक जैसे नियम. दूसरे शब्दों में कहें तो परिवार के सदस्यों के आपसी संबंध और अधिकारों को लेकर समानता. जाति-धर्म-परंपरा के आधार पर कोई रियायत नहीं. इस वक्त भारत में धर्म और परंपरा के नाम पर अलग नियमों को मानने की छूट है. जैसे, किसी समुदाय में बच्चा गोद लेने पर रोक है. किसी समुदाय में पुरुषों को कई शादी करने की इजाजत है. कहीं-कहीं विवाहित महिलाओं को पिता की संपत्ति में हिस्सा न देने का नियम है. यूनिफॉर्म सिविल कोड लागू होने पर किसी समुदाय विशेष के लिए अलग से नियम नहीं होंगे.
Comments