कोंडागांव . आजादी के 73 साल गुजरने के बाद भी नारायणपुर ब्लाॅक के ओरछा के दूसरी छोर पर जिला मुख्यालय नारायणपुर से 100 किमी दूर अबूझमाड़ इलाके के दर्जनभर गांवों में अब तक विकास नहीं हो पाया है। कोटूकल नदी जो डोडराबेड़ा और कुडमेल के बीच में से हाेकर बहती है। परेशान ग्रामीणों ने खुद ही नदी पर पत्थर, बांस व अन्य साधनों का उपयोग कर अस्थाई पुल तैयार कर उसके सहारे इन दिनों आवाजाही कर रहे हैं। कलेक्टर पीएस एल्मा ने कहा कि यहां पर पुल बनाने का प्रस्ताव अब तक नहीं
मिला है।
पुल के बाद भी 40 किमी चलना पड़ रहा है ग्रामीणों को: ग्रामीणों ने बताया कि सालों बाद कुछ साल पहले नारायणपुर से ओरछा तक की सड़क तो बन गई है लेकिन एक दर्जन से अधिक गांवों में अब तक सड़क नहीं बनी है। जिसके चलते सबसे अधिक परेशानी ग्रामीणों को बारिश में हो रही है । डोंडर बेड़ा, कुड़मेल , जाटलूर, मुरूमवडा, डोडीमरका, हरबेल ,छोबे पदमेटा सहित दर्जन भर गांव के ग्रामीणों को उनके द्वारा बनाए गए इस पुल को पार कर 40 किलोमीटर की यात्रा पैदल करनी पड़ रही है।
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